पद्मावती के समर्थन में उतरे करण जौहर-जावेद अख़्तर, कहा गलत मतलब न निकालें

 

मुंबई। देश भर में संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावती को लेकर बढ़ते जा रहे विरोध के बीच अब बॉलीवुड से इस फिल्म को समर्थन मिलना शुरू हो गया है। फिल्मकार करण जौहर और गीतकार जावेद अख्तर ने कहा है कि फिल्में सिर्फ अपनी अभिव्यक्ति जताने का तरीका होती हैं और उन्हें गलत संदर्भ में नहीं लेना चाहिए।

एक समारोह में जावेद अख्तर ने कहा – “मैं टीवी पर इतिहास के एक प्रोफ़ेसर को सुन रहा था जो ये कह रहे थे कि खिलज़ी शासन से पद्मावती के लिखे जाने के बीच करीब 200 से 250 साल हो गए हैं और जब तक मलिक मोहम्मद जायसी ने पद्मावत नहीं लिखा था तब तक पद्मावती का कोई ज़िक्र ही नहीं था। उस समय का बड़ा इतिहास है। बहुत से रिकार्ड मौजूद हैं लेकिन पद्मावती का जिक्र नहीं है। जोधा अकबर का उदहारण देते हुए जावेद अख्तर ने कहा कि इतिहास के मुताबिक तो अकबर के कोई जोधा नाम की बीवी ही नहीं थी। इसलिए लोगों को काल्पनिक कहानियों के साथ इतिहास को मिक्स करने की भूल नहीं करनी चाहिए। कहानियां बनाई जाती हैं लेकिन इतिहास के साथ उन्हें शामिल नहीं किया जाना चाहिए। अगर आपको इतिहास में रूचि हो तो उसे गंभीरता से पढ़ना चाहिए।

करण जौहर ने भी पद्मावती का समर्थन किया है। करण को फिल्म ‘ऐ दिल है मुश्किल में’ फ़वाद खान की पाकिस्तानी नागरिकता के कारण रिलीज़ को लेकर काफी दिक्कत हुई थी। उन्होंने कहा कि वो भंसाली के विजन का सम्मान करते हैं और इस बात से उन्हें काफ़ी दुःख पहुंचा है कि यह ख़ूबसूरत फिल्म विवादों में आ गई है। उन्हें लगता है कि लोग उनकी रचनात्मक अभिव्यक्ति को समझेंगे। और जब उन्होंने कह ही दिया है कि पद्मावती में लोगों की भावनाओं को आहात करने जैसा कुछ नहीं है तो उन पर भरोसा करना चाहिए।

 

भंसाली की पद्मावती एक दिसंबर को रिलीज़ होने जा रही है। फिल्म को लेकर राजपूत करणी सेना सहित कई संगठन विरोध कर रहे हैं और फिल्म को रिलीज़ न होने देने की धमकी दी है। उनका कहना है कि फिल्म में रानी पद्मिनी और अलाउद्दीन खिलज़ी के प्रेम प्रसंग को दिखाया गया है।

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