श्री राम सवैये - कर्नल प्रवीण त्रिपाठी

 

आज विराज गये निज आसन श्यामल मोहक रामलला जी।
नूतन संग पुरातन विग्रह शोभित-वंदित रामलला जी।
हर्षित हैं नर-नार सभी सबके मनभावत रामलला जी।
पंच शती उपरांत पधार कृतार्थ करें प्रभु रामलला जी।

श्री रघुबीर रखा करिये हिय नाम यही भव पार कराता।
राम जपे यदि मानव तो नित नाम उसे नव राह दिखाता।
पालन धर्म सदा करना यह राम चरित्र हमें सिखलाता।
राम रहें जिसके मन में उसको जग में कुछ और न भाता।
- प्रवीण व मीनू त्रिपाठी, नोएडा, उत्तर प्रदेश