सेना, सेवा, कोर; उत्तम और महान = कर्नल प्रवीण त्रिपाठी

 

सेना, सेवा, कोर; उत्तम और महान = कर्नल प्रवीण त्रिपाठी

सेना सेवा कोर हमारी उत्तम और महान है।
निज कर्तव्य निभाने खातिर देती नित बलिदान है।

जहाँ कहीं भी सैनिक डटते, उनके पीछे सदा खड़े।
नित आपूर्ति सुनिश्चित करने, करते काम अनेक बड़े।
बिना किये परवाह जान की, कोर बचाती जान है।
सेना सेवा कोर हमारी उत्तम और महान है।1

सर्दी, गर्मी, बर्फ पड़ी हो, काम सतत जारी रहता।
सप्लाई की चेन न टूटे, लक्ष्य सदा भारी रहता।
फ्यूल और एम्युनिशन भी तो, सैन्य बलों की जान है।
सेना सेवा कोर हमारी उत्तम और महान है।2

एमटी, एटी या सप्लाई, काम बड़े तीनों करते,
बिना रुके या बिना थके, कर्तव्य निभाते ये रहते।
एयरबोर्न सप्लाई से भी, बढ़े कोर की शान है।
सेना सेवा कोर हमारी उत्तम और महान है।

अधिकारी सैनिक भी लड़कर देते निज बलिदान है।
सेना, सेवा, कोर हमारी उत्तम और महान है।

= कर्नल प्रवीण शंकर त्रिपाठी, नोएडा

(260वाँ सेना सेवा कोर दिवस)

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